मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤‚तà¥à¤°à¥€ पà¥à¤·à¥à¤•à¤° सिंह धामी ने गà¥à¤°à¥‚वार को पोखरी में आयोजित सात दिवसीय 16वां हिमवंत कवि चनà¥à¤¦à¥à¤°à¤•à¥à¤‚वर बरà¥à¤¤à¥à¤µà¤¾à¤² खादी गà¥à¤°à¤¾à¤®à¥‹à¤¦à¥à¤¯à¥‹à¤— à¤à¤µà¤‚ परà¥à¤¯à¤Ÿà¤¨ शरादोतà¥à¤¸à¤µ मेले का उदà¥à¤˜à¤¾à¤Ÿà¤¨ किया। इस अवसर पर à¤à¤¾à¤œà¤ªà¤¾ पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ अधà¥à¤¯à¤•à¥à¤· महेनà¥à¤¦à¥à¤° पà¥à¤°à¤¸à¤¾à¤¦ à¤à¤Ÿà¥à¤Ÿ à¤à¥€ उनके साथ मौजूद रहे। मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤‚तà¥à¤°à¥€ à¤à¤µà¤‚ पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ अधà¥à¤¯à¤•à¥à¤· के पोखरी पहà¥à¤‚चने पर कà¥à¤·à¥‡à¤¤à¥à¤°à¤µà¤¾à¤¸à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ ने पारमà¥à¤ªà¤°à¤¿à¤• बाधà¥à¤¯ यंतà¥à¤° à¤à¤µà¤‚ फूल मालाओं के साथ à¤à¤µà¥à¤¯ सà¥à¤µà¤¾à¤—त किया।
रिपोर्ट - अंजना à¤à¤Ÿà¥à¤Ÿ घिलà¥à¤¡à¤¿à¤¯à¤¾à¤²
चमोली 15 सितंबर,2022, मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤‚तà¥à¤°à¥€ पà¥à¤·à¥à¤•à¤° सिंह धामी ने गà¥à¤°à¥‚वार को पोखरी में आयोजित सात दिवसीय 16वां हिमवंत कवि चनà¥à¤¦à¥à¤°à¤•à¥à¤‚वर बरà¥à¤¤à¥à¤µà¤¾à¤² खादी गà¥à¤°à¤¾à¤®à¥‹à¤¦à¥à¤¯à¥‹à¤— à¤à¤µà¤‚ परà¥à¤¯à¤Ÿà¤¨ शरादोतà¥à¤¸à¤µ मेले का उदà¥à¤˜à¤¾à¤Ÿà¤¨ किया। इस अवसर पर à¤à¤¾à¤œà¤ªà¤¾ पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ अधà¥à¤¯à¤•à¥à¤· महेनà¥à¤¦à¥à¤° पà¥à¤°à¤¸à¤¾à¤¦ à¤à¤Ÿà¥à¤Ÿ à¤à¥€ उनके साथ मौजूद रहे। मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤‚तà¥à¤°à¥€ à¤à¤µà¤‚ पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ अधà¥à¤¯à¤•à¥à¤· के पोखरी पहà¥à¤‚चने पर कà¥à¤·à¥‡à¤¤à¥à¤°à¤µà¤¾à¤¸à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ ने पारमà¥à¤ªà¤°à¤¿à¤• बाधà¥à¤¯ यंतà¥à¤° à¤à¤µà¤‚ फूल मालाओं के साथ à¤à¤µà¥à¤¯ सà¥à¤µà¤¾à¤—त किया। इस दौरान मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤‚तà¥à¤°à¥€ ने पोखरी नगर में सीसी व टाइलà¥à¤¸ मारà¥à¤—ो के निरà¥à¤®à¤¾à¤£, पोखरी नगर में नालों का निरà¥à¤®à¤¾à¤£, नगर पंचायत पोखरी में सोलर लाइट सà¥à¤¥à¤¾à¤ªà¤¿à¤¤ करने, पोखरी में मिनि सà¥à¤Ÿà¥‡à¤¡à¤¿à¤¯à¤® के अवशेष निरà¥à¤®à¤¾à¤£ कारà¥à¤¯ हेतॠधनराशि की सà¥à¤µà¥€à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿, पà¥à¤·à¥à¤•à¤°à¥‡à¤¶à¥à¤µà¤° महादेव मंदिर पोखरी गांव तक सिंचाई सिंचाई विà¤à¤¾à¤— के नाला निरà¥à¤®à¤¾à¤£ कारà¥à¤¯ और राजकीय पोखरी मेले को 5 लाख की धनराशि देने की घोषणा à¤à¥€ की। पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ के चितेरे कवि चनà¥à¤¦à¥à¤° कà¥à¤‚वर बरà¥à¤¤à¥à¤µà¤¾à¤² को शà¥à¤°à¤¦à¥à¤µà¤¾à¤œà¤²à¤¿ देते हà¥à¤ मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤‚तà¥à¤°à¥€ ने कहा कि पà¥à¤°à¤–à¥à¤¯à¤¾à¤¤ कवि चनà¥à¤¦à¥à¤° कà¥à¤‚वर बरà¥à¤¤à¥à¤µà¤¾à¤² ने मातà¥à¤° 28 साल की उमà¥à¤° में हिंदी साहितà¥à¤¯ को अनमोल कविताओं का समृदà¥à¤µ खजाना दे दिया था। उनकी कविताओं में अटूट पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ पà¥à¤°à¥‡à¤® à¤à¤²à¤•à¤¤à¤¾ है। जीवन के इस छोटे सफर में उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने सात सौ से à¤à¥€ ऊपर कविताà¤à¤‚, गीत, मà¥à¤•à¥à¤¤à¤•, निबंध आदि लिखकर à¤à¤• इतिहास रचा है। हिमपणà¥à¤¡à¤¿à¤¤ शैल शिखर, सदानीरा कल कल करती नदियां, लंबे चौडे लहलहाते चारागाह, दूर दूर तक फैले चीड, बांज, बà¥à¤°à¤¾à¤‚श, देवदार के घने जंगल, रंग बिरंगे फूलों से लदालद à¤à¤°à¥€ घाटियां, पशॠपकà¥à¤·à¥€, ऋतà¥à¤“ं का पट-परिवरà¥à¤¤à¤¨, घन गरà¥à¤œà¤¨ सà¤à¥€ का चमतà¥à¤•à¤¾à¤°à¤¿à¤• चितà¥à¤°à¤£ उनकी कविताओं में मिलता है।