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राम का चरित्र आत्मसात करने वाला- स्वामी रामभद्राचार्य


कनखल राजघाट में गंगा के पावन तट पर राम कथा के तीसरे दिन कथा को विस्तार देते हुए तुलसी पीठाधीश्वर स्वामी रामभद्राचार्य महाराज ने कहा कि भगवान श्री राम का चरित्र मर्यादा पूर्ण है। भगवान श्रीराम हम सब के आदर्श हैं।

रिपोर्ट  - Rameshwar Gaur

हरिद्वार, कनखल राजघाट में गंगा के पावन तट पर राम कथा के तीसरे दिन कथा को विस्तार देते हुए तुलसी पीठाधीश्वर स्वामी रामभद्राचार्य महाराज ने कहा कि भगवान श्री राम का चरित्र मर्यादा पूर्ण है। भगवान श्रीराम हम सब के आदर्श हैं। स्वामी रामभद्राचार्य महाराज ने कहा कि प्रभु श्री राम ने अपने जीवन में एक राजा के रूप में और एक गृहस्थ के रूप में अपनी भूमिका अलग-अलग रेखांकित की है और दोनों हीं भूमिकाओं में भगवान श्री राम खरे उतरे हैं और उन्होंने समाज के सामने एक आदर्श प्रस्तुत किया है। इसलिए भगवान राम का चरित्र आत्मसात करनेवाला है। उन्होंने कहा कि भगवान श्री राम त्याग और कर्म दोनों के एक अद्भुत और प्रेरित जीवंत प्रतीक है। उन्होंने अपने पिता के द्वारा किए गए वचन को जनहित में पालन करने के लिए राज-पाट को बेहिचक त्याग दिया और राष्ट्रहित में वन गमन को अपनाकर त्याग का एक अद्भुत उदाहरण प्रस्तुत किया। भगवान श्री राम ने हमेशा कर्तव्य बोध को प्राथमिकता दी। श्री राम कथा के मुख्य यजमान सचिन अग्रवाल और प्रशांत शर्मा ने रामायण जी की आरती की। नितिन माना, सुनील अग्रवाल गुड्डू, अखिलेश बिट्टू शिवपुरी, नमित गोयल, गगन गुप्ता,गौरव गुप्ता दीपक बंसल, प्रतीक गुप्ता , भगवत शरण अग्रवाल, आशीष, मनीष बंसल आदि ने व्यास पीठ का पुष्प मालाओं से स्वागत किया। श्री राम कथा के बाद स्वामी रामभद्राचार्य दिल्ली के लिए रवाना हो गए। जहां वे राष्ट्रपति भवन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में भाग लेंगे। दिल्ली रवाना होने से पूर्व पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने कहा कि वे अपने मित्र नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री पद के शपथ-ग्रहण समारोह में भाग लेने दिल्ली जा रहे हैं।

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