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आज 11:30 बजे 4,896 हुतात्माओं की अस्थियों का हरिद्वार कनखल सती घाट पर गंगा में होगा विसर्जन


अस्थि कलश विसर्जन यात्रा की तैयारियां पूरी हो गई हैं। श्री देवोत्थान सेवा समिति के तत्वाधान में आयोजित 19वीं अस्थि कलश विसर्जन यात्रा के लिए अस्थियों की सफाई का कार्य भी पूरा किया जा चुका है।

रिपोर्ट  - à¤µà¤¿à¤•à¤¾à¤¸ कुमार झा

हरिद्वार । साल 2020 की अस्थि कलश विसर्जन यात्रा की तैयारियां पूरी हो गई हैं। श्री देवोत्थान सेवा समिति के तत्वाधान में आयोजित 19वीं अस्थि कलश विसर्जन यात्रा के लिए अस्थियों की सफाई का कार्य भी पूरा किया जा चुका है। समिति के तत्वाधान में शुक्रवार 2 अक्टूबर को अस्थियों के लेकर यात्रा दिल्ली से हरिद्वार पहुंचेगी। समिति के अध्यक्ष अनिल नरेन्द्र ने बताया कि यह यात्रा दिनांक 02 अक्टूबर 2020 ( शुक्रवार) को प्रात 9 बजे शहीदी पार्क, आईटीओ, नई दिल्ली से हरिद्वार के लिए रवाना होगी। जहा अगले दिन दिनांक 03 अक्टूबर 2020 (शनिवार) को प्रात 9 बजे यात्रा पुनः निष्काम सेवा ट्रस्ट भूपतवाला हरिद्वार से निकलेगी और दोपहर 12ः30 बजे सभी एकत्रित हुतात्माओं का 100 किलो दूध की धारा व वैदिक रीति, मंत्रोच्चारण के साथ कनखल स्थित सतीघाट पर विसर्जन किया जाएगा। समिति के महामंत्री व यात्रा संयोजक विजय शर्मा ने बताया कि पंकज आंगरा के नेतृत्व में युवा टीम के नमन शर्मा, रिदम कुमार, उत्कर्ष कुमार, गोविंद तेवतिया, दिशांत, नकुल यादव, हर्ष कौशिक, कप्तान सिंह, नीरज, कृष्णा, संजय वालिया, दिव्यांशु, अरुण सिंह, गोपाल वर्मा, दिनेश भारद्वाज, आशीष कश्यप, शारदा प्रषाद, राजकुमार, किरण दीप कौर द्वारा दिल्ली एनसीआर से एकत्रित 4896 ( चार हजार आठ सौ छियानवे ) अस्थियों की सफाई कर उनमें से राख हटाकर अस्थियो को चुना गया। विजय शर्मा के मुताबिक यह सारी प्रक्रिया निगम बोध घाट स्थित बारादरी भवन‌ में जारी है। उन्होंने कहा कि इस बार केवल दिल्ली एनसीआर से ही अस्थियों का एकत्रीकरण किया गया है। वैश्विक कोरोना माहमारी काल के दौरान जो भाई बंधु अपने परिजनों के अस्थि कलशों को किसी कारण वश मोक्ष नहीं करवा पाए उन अस्थि कलश को भी, साथ ही जिन अस्थि कलशों का अपना कोई नहीं है उनके परिजन बनकर समिति ने इन सभी को विसर्जन करने का बीड़ा उठाया है।सभी दिवंगत आत्माओं की अस्थियों को गंगाजल व केवड़े से साफ कर पर्यावरण के लिहाज से लाल और सफ़ेद कपड़ों के थैलों में पैक करके सम्मान के साथ रखा गया है। दिल्ली से हरिद्वार तक की यात्रा में कोरोना महामारी से बचाव के सभी मापदंडों को अपनाया जायेगा। इसके साथ ही इस यात्रा को इस वर्ष सीमित संख्या में रखा गया है ताकि साशन-प्रशासन या संबंधित एजेंसियों को भी किसी भी तरह की समस्या नहीं आए।

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