मानव सेवा के लिए समर्पित है रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम कनखल


श्यामपुर कांगड़ी गांव में 200 से ज्यादा जरूरतमंद ग्रामीणों को गर्म कपड़े,दवाइयां, खाद्य सामग्री नि:शुल्क वितरित की

रिपोर्ट  - allnewsbharat.com

हरिद्वार 28 नवंबर। रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम उत्तराखंड के हरिद्वार के कनखल में 210 बिस्तरों वाला मल्टी स्पेशलिटी चैरिटेबल अस्पताल है । यह रामकृष्ण मिशन की एक शाखा है , और स्वामी विवेकानंद के दो शिष्यों स्वामी कल्याणानंद महाराज और स्वामी निश्चलानंद महाराज द्वारा 1901 में स्थापित किया गया था । अस्पताल उत्तराखंड में और उसके आसपास गरीब रोगियों की उपचार आवश्यकता पूरी करता है। अपनी स्थापना के बाद से इस अस्पताल ने 10 मिलियन से अधिक रोगियों का इलाज किया है। इस अस्पताल में उच्च कोटि के चिकित्सक सेवाएं प्रदान कर रहे हैं। गरीबों और साधुओं की यहां नि:शुल्क चिकित्सा सेवा की जाती है। 119 साल पहले एक किराये की दो कमरे की जर्जर इमारत में एक मामूली शुरुआत से यह रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम साधु-संतों और जरूरतमंद लोगों के नि:शुल्क इलाज के लिए एक बहु-विशेषता अस्पताल बन गया है । यह अस्पताल 18 एकड़ के परिसर में स्थित है, और इसमें डेयरी और कृषि भूमि के अलावा स्त्री रोग और प्रसूति, बाल रोग, गहन चिकित्सा इकाइयां, पैथोलॉजिकल प्रयोगशाला, ब्लड बैंक, ऑपरेशन थिएटर और डायलिसिस, मेडिकल स्टोर आदि की सुविधा है। रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम के मेडिकल स्टोर में दवाइयां बिल्कुल गारंटी सुविधा और असली मिलती हैं तथा बाजारों में स्थित मेडिकल स्टोरों से अत्यधिक सस्ती मिलती हैं जिसका लाभ उपभोक्ताओं को होता है। रामकृष्ण मिशन आश्रम कनखल के सचिव स्वामी नित्य शुद्धानंद महाराज के नेतृत्व और स्वामी दयाधिपानंद महाराज के संयोजन में श्यामपुर कांगड़ी में 200 से ज्यादा जरूरतमंद ग्रामीणों को सर्दियों की जरूरत को देखते हुए गर्म कपड़े, दवाइयां, खाद्य सामग्री और मास्क वितरित किए । इस अवसर पर स्वामी नित्यशुद्धानंद महाराज ने कहा कि मानव सेवा ही सबसे बड़ा धर्म है।स्वामी विवेकानंद ने कहा था कि नर सेवा नारायण सेवा है और हर साल रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम कनखल उनकी जयंती के अवसर पर रोगी नारायण सेवा का आयोजन करता है। कार्यक्रम के संयोजक स्वामी दयाधिपानंद महाराज ने कहा कि कोरोना काल के समय लॉकडाउन के वक्त रामकृष्ण मिशन सेवाश्रम कनखल ने 6 हजार से ज्यादा जरूरतमंद लोगों को खाद्यान्न सामग्री नि:शुल्क वितरित की। इस अवसर पर मिशन के स्वामी उमेश्वरानंद मंजू महाराज, स्वामी जगदीश महाराज समेत कई संत और मिशन के कई कर्मचारी मौजूद थे।

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