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महादेव सेना एवं अनमोल ग्राम स्वराज संस्थान के तत्वाधान में आयोजित जल जीवन यात्रा


देहरादून के प्रसिद्ध शिवालयों में जलाभिषेक करके लाखामंडल बाढ़ वाला शिवा काली मंदिर कालसी में जलाभिषेक किया उसके पश्चात महासू देवता मंदिर हनोल काशी विश्वनाथ मंदिर उत्तरकाशी चंदेश्वर महादेव मंदिर बड़कोट कमलेश्वर मंदिर मंदिर एवं टेहरी चंबा के प्रसिद्ध शिवालयों में जलाभिषेक

रिपोर्ट  - allnewsbharat.com

महादेव सेना एवं अनमोल ग्राम स्वराज संस्थान के तत्वाधान में आयोजित जल जीवन यात्रा का8 अगस्त को जलाभिषेक करके मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी जी ने हरी झंडी दिखाई थी यात्रा विकास नगर एवं देहरादून के प्रसिद्ध शिवालयों में जलाभिषेक करके लाखामंडल बाढ़ वाला शिवा काली मंदिर कालसी में जलाभिषेक किया उसके पश्चात महासू देवता मंदिर हनोल काशी विश्वनाथ मंदिर उत्तरकाशी चंदेश्वर महादेव मंदिर बड़कोट कमलेश्वर मंदिर मंदिर एवं टेहरी चंबा के प्रसिद्ध शिवालयों में जलाभिषेक यात्रा कुमाऊं मंडल के गर्जिया मंदिर से होते हुए हल्द्वानी जागेश्वर एवं बागेश्वर बागेश्वर के जिले में जन जागरण एवं जलाभिषेक किया लोगों को स्वच्छता का संकल्प एवं राष्ट्र विरोधी की पहचानना उनकी सूचना शासन और प्रशासन को देंने🚩 की शपथ दिलाई और पुरानी जल स्रोतों को पुनर्जीवित करने के लिए सभी लोगों से निवेदन किया क्योंकि यदि जल नहीं रहेगा तो जीवन नहीं रहेगा पहाड़ के कई गांव के जल स्रोत समाप्त हो चुके हैं हमने तालाब बनाने छोड़ दिए जो पुराने ताल से ताल थे गए हैं सभी लोगों को गांव के ऊपर तालाब बनाने चाहिए अपने घर के आस-पास खेती के आसपास में जल के तालाब बनने पड़ेगा ऐसा जन जागरण पूरे उत्तराखंड में जिससे वाले में जलाभिषेक किराया वहीं पर शपथ ग्रहण करवाया आज अट्ठारह अगस्त को दक्षेश्वर मंदिर में मंदिर के महंत डॉ बाबा इस अवसर पर सतपाल ब्रह्मचारीमहाराज जी उपस्थित थे के सानिध्य में जलाभिषेक संपन्न हुआ इस अवसर पर महादेव सेना के जिलाध्यक्ष गोविंद चौहान आशीष पाराशर प्रदेश अध्यक्ष ललित मंडल चंद्रशेखर जोशी राष्ट्रीय महामंत्री गीता बिष्ट राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मीरा बजाज अव्यक्ता बाजाज बलराम दुबे गुरु प्रसाद सेमवाल संयोजक राजेंद्र सेमवाल शास्त्री उपस्थित थे। इसके पश्चात 108 शिवालयों की यात्रा समापन हरिद्वार के तेजतर्रार जनहित में कार्य करने वाले डीएम विनय शंकर पांडे जी के द्वारा समापन किया गया जल बचाने का प्रयास गंगा जली में जल भरा गया था गोमुख से और प्रति वाले में अभिषेक बाकी बचा हुआ जलडीएम विनय शंकर जी को दिया कि इस देवभूमि उत्तराखंड की संस्कृति देव नदी को अपने बचाना है ।

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