कहते हैं को तिनके का सहारा काफी है ।कà¥à¤› à¤à¤¸à¤¾ ही गà¥à¤œà¤°à¤¾à¤¤ के सूरत के रहने वाले à¤à¤• यà¥à¤µà¤• के साथ हà¥à¤† यà¥à¤µà¤• हरिदà¥à¤µà¤¾à¤° घूमने आया था
रिपोर्ट - allnewsbharat.com
हरिदà¥à¤µà¤¾à¤° 11 मई कहते हैं को तिनके का सहारा काफी है ।कà¥à¤› à¤à¤¸à¤¾ ही गà¥à¤œà¤°à¤¾à¤¤ के सूरत के रहने वाले à¤à¤• यà¥à¤µà¤• के साथ हà¥à¤† यà¥à¤µà¤• हरिदà¥à¤µà¤¾à¤° घूमने आया था जब वह गोविंदपà¥à¤°à¥€ रानीपà¥à¤° में गंगा के गोविंद घाट पर बैठा हà¥à¤† था और अचानक बिजली चली गई गंगा घाट पर अंधेरा हो गया और अंधेरे में उसका पैर फिसल गया और गंगा के तेज बहाव में बहने लगा। हरिदà¥à¤µà¤¾à¤° के खनà¥à¤¨à¤¾ नगर के निवासी à¤à¥‚षण धवन ने जब यà¥à¤µà¤• को डूबते हà¥à¤ और हाथ ऊपर करके मदद के लिठपà¥à¤•à¤¾à¤°à¤¤à¥‡ देखा तो à¤à¥‚षण धवन ने बिना वकà¥à¤¤ गंवाठतà¥à¤°à¤‚त अपनी कमीज पेंट उतार कर गंगा में कूदकर उस डूबते हà¥à¤ यà¥à¤µà¤• को बचा लिया और यही नहीं रात à¤à¤° उसको अपने घर में रखा दिन à¤à¤° उसकी सेवा सà¥à¤¶à¥à¤°à¥à¤·à¤¾ की और उसे खाना पीना खिलाया और शाम को से हरिदà¥à¤µà¤¾à¤° रेलवे सà¥à¤Ÿà¥‡à¤¶à¤¨ में गà¥à¤œà¤°à¤¾à¤¤ की टà¥à¤°à¥‡à¤¨ में बिठाकर उसके घर सूरत वापस à¤à¥‡à¤œà¤¾ । इस मानवीय कारà¥à¤¯ के लिठजहां à¤à¥‚षण धवन की लोग बाग तारीफ कर रहे हैं वही सूरत गà¥à¤œà¤°à¤¾à¤¤ का यà¥à¤µà¤• अपनी जान बचाने के लिठà¤à¥‚षण धवन का आà¤à¤¾à¤° वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤ कर रहा है और à¤à¥‚षण धवन की पतà¥à¤¨à¥€ और उनके घर के सदसà¥à¤¯à¥‹à¤‚ ने जिस तरह से उसको परिवार के सदसà¥à¤¯ के रूप में अपने घर में रखा उससे à¤à¥€ गà¥à¤œà¤°à¤¾à¤¤ का यह यà¥à¤µà¤• बेहद गदगद है गà¥à¤œà¤°à¤¾à¤¤ के सूरत का रहने वाला 26 वरà¥à¤·à¥€à¤¯ मयूर मांगूकिया à¤à¤• डायमंड कटिंग कंपनी में कारà¥à¤¯ करता है वह हरिदà¥à¤µà¤¾à¤° आया था और शाम के समय जब गोविंदघाट में बैठा था तो बिजली गà¥à¤² हो गई चली और थोड़ा तूफानी मोसम हो गया, रेलिंग से उसका पैर फिसला और वह गंगा में बहने लगा जब वह अगà¥à¤°à¤¸à¥‡à¤¨ घाट तक पहà¥à¤‚च गया तो पà¥à¤² के ऊपर से शाम की सैर कर रहे à¤à¥‚षण धवन ने देखा कि कोई मदद के लिठहाथ ऊपर कर रहा है दो-तीन लड़के à¤à¥€ आसपास थे पर à¤à¥€ कà¥à¤› नहीं कर पा रहे थे ।उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने तà¥à¤°à¤‚त अपनी कमीज उतारी और गंगा में कूदकर इस यà¥à¤µà¤• को बचा लिया।