कन्फेडरेशन ऑफ न्यूजपेपर्स एंड न्यूज एजेंसीस इम्पलाइज आर्गनाइजेशन की वर्किंग जर्नलिस्ट्स एक्ट, वेज बोर्ड को लागू कराने, इन्फार्मेशन टेक्नोलॉजी एक्ट में संशोधन और जर्नलिस्ट्स प्रोटेक्शन एक्ट बनाने की मांग, 28-29 मई को दिल्ली में बनेगी रणनीति, एनयूजे की पत्रकार सुरक्षा कानून बनाने की मांग को सभी संगठनों का समर्थन।
रिपोर्ट - ऑल न्यूज़ ब्यूरो
हरिद्वार/ नई दिल्ली। देश के मीडियाकर्मियों के अधिकार और हितों के लिए संघर्ष करने वाले सात सशक्त संगठनों ने कन्फेडरेशन ऑफ न्यूजपेपर्स एंड न्यूजएजेंसीस इम्पलाइज आर्गनाइजेशन के झंडे तले वर्किंग जर्नलिस्ट्स एक्ट, वेज बोर्ड को लागू कराने, इन्फार्मेशन टेक्नोलॉजी एक्ट में संशोधन और जर्नलिस्ट्स प्रोटेक्शन एक्ट बनाने की मांग को लेकर राष्ट्रव्यापी आंदोलन करने का फैसला किया है। कन्फेडरेशन के चंडीगढ़ में आयोजित मे दो दिवसीय राष्ट्रीय मीडिया सम्मेलन के विभिन्न सत्रों में मुख्य अतिथि के तौर पर पधारे हरियाणा में भाजपा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल खट्टर, हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस के मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविन्दर सिंह और पंजाब में आम आदमी पार्टी के मुख्यमंत्री सरदार भगवंत मान ने मीडियाकर्मियों की मांग को समर्थन करते हुए लागू करने का आश्वासन दिया है। ट्रिब्यून इम्पलाइज यूनियन द्वारा चंडीगढ़ में आयोजित राष्ट्रीय मीडिया सम्मेलन में कन्फेडरेशन के महासचिव एम एस यादव, नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स (इंडिया) के अध्यक्ष रास बिहारी, महासचिव प्रदीप तिवारी, कोषाध्यक्ष डॉ अरविन्द सिंह, उपाध्यक्ष राणेश राणा, इंडियन जर्नलिस्ट्स यूनियन के अध्यक्ष श्रीनिवास रेड्डी, महासचिव बलबिंदर जम्मू, इंडियन फेडरेशन ऑफ जर्नलिस्ट्स के उपाध्यक्ष हेमंत तिवारी, महासचिव परमानंद पांडे, ऑल इंडिया फेडरेशन ऑफ पीटीआई इम्पलाइज यूनियन के अध्यक्ष भुवन चौबे, यूएनआई वर्कर्स यूनियन के अध्यक्ष एम एल जोशी, ऑल इंडिया न्यूजपेपर्स इम्पलाइज यूनियन के सचिव सी एस नायडू समेत बड़ी संख्या में पत्रकार और गैर पत्रकार सदस्यों ने हिस्सा लिया। सम्मेलन के पहले सत्र में पंजाब के मुख्यमंत्री सरदार भगवंत मान ने फील्ड में काम करने वाले पत्रकारों के लिए सुरक्षित माहौल बनाने की जरूरत पर जोर दिया। मान ने कहा कि प्रिटं मीडिया की प्रासंगिकता हमेशा बनी रहेगी। उन्होंने कहा कि पत्रकार सामाजिक मुद्दों को खबरों में प्राथमिकता दें। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह ने लोकतंत्र के चौथे खम्भे के निष्पक्ष और स्वतंत्र रखने के लिए पत्रकारों रखने के लिए मीडियाकर्मियों की सामाजिक सुरक्षा की आवश्यकता बताई। उन्होंने मीडियाकर्मियों को पूरी सहायता करने का आश्वासन दिया। साथ ही आर्थिक सहायता के लिए बजट में आवंटन करने की बात भी कही। सम्मेलन के तीसरे सत्र में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने राज्य के पत्रकारों को मिल रही पेंशन को बढ़ाने की घोषणा की और कहा कि सरकार की तरफ पत्रकारों को अन्य सुविधाएं देने पर विचार किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि समाचारों का व्यापक प्रसार करने में क्षेत्रीय भाषाओं का बहुत महत्व है। कन्फेडरेशन के राष्ट्रीय मीडिया सम्मेलन में श्रमजीवी पत्रकार कानून, मजीठिया वेज बोर्ड, पत्रकार सुरक्षा कानून, वर्तमान हालत में माफिया, सरकारी एंजेसियों और असामाजिक तत्वों द्वारा मीडियाकर्मियों पर हमलों को लेकर सुरक्षा, सूचना तकनीक कानून में संशोधन की मांग समेत कई विषयों पर प्रस्ताव पारित किए गए। एनयूजेआई के अध्यक्ष रास बिहारी ने कहा कि पत्रकार सुरक्षा कानून बनाने की मांग को कन्फेडरेशन का समर्थन मिलने पर खुशी जताई। उन्होंने कहा कि सबसे एनयूजे ने इस मांग को उठाया था। आज सभी संगठन इस मांग का समर्थन कर रहे हैं। कन्फेडरेशन के महासचिव एम एस यादव ने बताया कि सभी मांगों को लेकर दिल्ली में 28 और 29 मई को राष्ट्रीय मीडिया सम्मेलन में अंतिम निर्णय लेकर राष्ट्रव्यापी आंदोलन की रूपरेखा तैयार की जाएगी। उन्होंने कहा कि देश के प्रमुख मीडिया संगठनों ने एक मंच एकजुट होकर मीडियाकर्मियों की मांगों को लेकर लड़ने की आवाज बुलंद की है। ट्रिब्यून इम्पलाइज यूनियन के अध्यक्ष अनिल कुमार गुप्ता, महासचिव रूचिरा एम खन्ना ने आशा जताई है कि राष्ट्रीय मीडिया सम्मेलन में पारित प्रस्तावों पर केंद्र और राज्य सरकारें सहानुभूतिपूर्वक विचार करेंगी।