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विश्व भर के चौबीस लाख घरों में गायत्री यज्ञ सम्पन्न


विश्व कल्याण एवं वसुधैव कुटुंबकम के भाव से अखिल विश्व गायत्री परिवार का आध्यात्मिक प्रयोग के अंतर्गत गृहे-गृहे गायत्री महायज्ञ का आयोजन बुद्ध पूर्णिमा को सम्पन्न हुआ। वैश्विक स्तर पर चौबीस लाख से अधिक घरों में औषधीय जड़ी-बूटी के साथ गायत्री यज्ञ में आहुतियाँ डाली गयी। यह कार्यक्रम प्रातः नौ बजे से एक साथ-एक समय में शुभारंभ हुआ।

रिपोर्ट  - allnewsbharat.com

हरिद्वार 5 मई। विश्व कल्याण एवं वसुधैव कुटुंबकम के भाव से अखिल विश्व गायत्री परिवार का आध्यात्मिक प्रयोग के अंतर्गत गृहे-गृहे गायत्री महायज्ञ का आयोजन बुद्ध पूर्णिमा को सम्पन्न हुआ। वैश्विक स्तर पर चौबीस लाख से अधिक घरों में औषधीय जड़ी-बूटी के साथ गायत्री यज्ञ में आहुतियाँ डाली गयी। यह कार्यक्रम प्रातः नौ बजे से एक साथ-एक समय में शुभारंभ हुआ। इसका शुभारंभ अखिल विश्व गायत्री परिवार प्रमुखद्वय श्रद्धेय डॉ. प्रणव पण्ड्या एवं श्रद्धेया शैलदीदी के गायत्री तीर्थ में दीप प्रज्वलन से हुआ। अपने संदेश में अखिल विश्व गायत्री परिवार प्रमुख श्रद्धेय डॉ. प्रणव पण्ड्या ने कहा कि इन दिनों वैश्विक स्तर पर पर्यावरण संकट सहित अनेक समस्याएँ हैं। उन्होंने कहा कि विश्व शांति एवं विश्व कल्याण के लिए देश-विदेश के गायत्री साधकों ने अपने-अपने घरों में एक साथ-एक समय में गायत्री यज्ञ सम्पन्न किया। यज्ञ के माध्यम से हम अपनी आहुति ब्रह्माण्ड को देते हैं। यह आयोजन आध्यात्मिक प्रयोग के अंतर्गत सम्पन्न हुआ। सामूहिक रूप से किये गये आध्यात्मिक अनुष्ठान प्राणी मात्र के लिए संजीवनी की तरह होती है। संस्था की अधिष्ठात्री श्रद्धेया शैलदीदी ने कहा कि भारतीय संस्कृति की मूल आधार यज्ञ पिता (सत्कर्म) और गायत्री माता (सद्ज्ञान) है। युगऋषि पूज्य आचार्यश्री ने इन्हें जीवन जीने की शैली के रूप में स्थापित किया है। उन्होंने यज्ञीय आयोजन को सर्वश्रेष्ठ कर्म बताते हुए कहा कि सम्पूर्ण मानवता के कष्ट का समूल नाश करना है, तो यज्ञीय जीवन जीना होगा। इस आयोजन के समन्वयक श्री केपी दुबे ने बताया कि देश-विदेश के 24 लाख से अधिक घरों में एक साथ-एक समय में गायत्री यज्ञ का आयोजन हुआ। इसमें से बहुसंख्य लोग शांतिकुंज से आनलाइन संचालित हुए यज्ञीय प्रक्रिया से जुड़े। तो वहीं अनेक लोगों ने यज्ञ का संचालन स्वयं अथवा स्थानीय प्रज्ञा संस्थानों से जुड़े पुरोहितों से सम्पन्न करवाया। इस यज्ञ का सजीव प्रसारण यूट्यूब चैनल-शांतिकुंज वीडियो एवं फेसबुक आईडी- एडल्ब्यूजीपीआफिसियल (awgpofficial) में किया गया। उन्होंने बताया कि वैश्विक स्तर पर आसन्न संकट से उबरने हेतु विशेष आहुतियाँ प्रदान की गयी। इस आयोजन में गुजरात, दिल्ली, झारखंड, बिहार, पंजाब, छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, हरियाणा, जम्मू कश्मीर आदि राज्यों सहित आस्ट्रेलिया, अमेरिका, कनाडा, दक्षिण अफ्रीका आदि देशों के गायत्री परिजनों ने अपने-अपने घरों में औषधीय जड़ी-बूटियों से हवन किया। इसी तरह का सामूहिक आयोजन ७ मई रविवार को भी होगा।

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